बागपत में प्रदुषण का कहर आखों में जलन सांस लेने में परेशानी।.
0 Comments । By Black Cat News । 29 November, 2021
दिल्ली-एनसीआर क्षेत्र के बागपत जिले में प्रदुषण एक्यूआई 356 पर अटक गया है। लोगों को आखों में जलन और सांस लेने में परेशानी की शिकायते होने लगी है। जिले में चिन्हित प्रदुषण के दस हाट स्पाट पर प्रशासन कोई ध्यान नहीं दे रहा है।
यूपी का बागपत जिला दिल्ली एनसीआर का वह क्षेत्र है। जहां दिल्ली और हरियाणा बार्डर लगते है। दिल्ली और हरियाणा के प्रदुषण के कारण बागपत में भी इसका असर बढ़ता दिख रहा है। पिछले तीन दिन से बागपत का एक्यूआई 356 पर अटका है। लोगों को आंखों में जलन और सांस लेने में परेशानी की शिकायते हो रही है। यह हाल तब है जब गत अक्टूबर माह में ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (ग्रेप) लागू किया गया था और प्रदुषण रोकने के इंतजाम करने के निर्देश दिये गये थे।
लेकिन पहले दिन से ही जिम्मेदार विभाग ग्रेप को लेकर गंभीर नहीं दिखाई दिए। ग्रेप के प्रति जिले के अधिकारी भी उदासीन रहे। ग्रेप से पहले जिले में प्रदूषण फैलाने वाले 10 हाट स्पाट चिह्नित किए गए थे। टूटी सड़कें, धूल उड़ने, जाम, निर्माण कार्य, कूड़ा जलाने, ढाबों पर जलाए जा रहे कोयले, औद्योगिक इकाइयों से होने वाले प्रदूषण के आधार पर इन स्थानों को हाट स्पाट बनाया गया था। कमिश्नर मेरठ की ओर से 18 विभागों को नोटिस जारी कर प्रदूषण की रोकथाम के लिए काम करने का निर्देश दिया गया था। लेकिन निर्देशों का पालन तो दूर इन हाट स्पोट के बारे में जिला प्रशासन कोई प्लान तक तैयार नहीं कर पाया। आलम यह है खेकड़ा पाठशाला से लेकर बागपत मेरठ हाईवे पर तो धूल के गुब्बार उठ ही रहे है। हवा में फैैक्ट्रीयों का धुआं घुलता जा रहा है। वही बागपत के सैंकड़ों भट्ठे भी आग उगलने की तैयारी कर रहे है। रविवार को फिर जिले का एक्यूआई 356 दर्ज किया गया है जो घातक हो चला है।
Sachin Kumar's Report
BlackCatNews, Prayagraj (Allahabad)